Side-Effects

जानें फाइजर, मॉडर्ना और एस्ट्राजेनेका की Vaccine के क्या हैं साइड-इफेक्ट्स

दुनिया में तबाही मचानेवाले कोरोना वायरस के खिलाफ हर किसी को Vaccine का शिद्दत से इंतजार है। फाइजर की Vaccine के इस्तेमाल को ब्रिटन सहित 3 देशों में मंजूरी भी मिल गई है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक, पिछले महीने तक 200 से ज्यादा Vaccine विकास के चरण में शामिल थीं और 48 Vaccine पर मानव परीक्षण चल रहा था।

ड्रग कंपनी फाइजर, मॉडर्ना और एस्ट्राजेनेका अग्रणी Vaccine उम्मीदवार हैं। फाइजर जर्मन कंपनी बायोएनटेक के साथ और एस्ट्राजेनेका ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के साथ मिलकर काम कर रही है। अमेरिका में मॉडर्ना, फाइजर, एस्ट्राजेनेका और जॉनसन एंड जॉनस की प्रायोगिक Vaccine का मानव परीक्षण अंतिम चरण में है।

फाइजर और मॉडर्ना ने पहले ही आपातकालीन इस्तेमाल के लिए मंजूरी की मांग कर वैक्सीन निर्माण की दौड़ में अन्य कंपनियों को मात दे दिया। आनेवाले महीनों में अन्य कंपनियां भी मंजूरी के आवेदन के लिए आगे आ सकती हैं। इस बीच, मंगलवार को ब्रिटेन फाइजर की Vaccine को बड़े पैमाने पर इस्तेमाल की मंजूरी देनेवाला दुनिया का पहला देश बन गया।

COVID-19 के खिलाफ दुनिया में सबसे पहले ब्रिटेन ने टीकाकरण की मुहिम शुरू की है। सभी COVID-19 वैक्सीन बहुत ही कम समय में तैयार की जा रही हैं। मगर क्या हम उसके बारे में और ज्यादा जानते हैं? किस कंपनी की COVID-19 वैक्सीन के साइड-इफेक्ट्स क्या हैं? क्या आपको बीमारी से सुरक्षा मिल जाएगी? और क्या आपको वैक्सीन एक बार या हर साल लेने की जरूरत होगी?

अमेरिका में 2 कंपनियों एस्ट्राजेनेका और जॉनसन एंड जॉनसन के तीसरे चरण के मानव परीक्षण को रोकना पड़ा था। परीक्षण का हिस्सा बननेवाले वॉलेंटियर की बीमारी ने स्वास्थ्य अधिकारियों की चिंता बढ़ा दी थी। किसी भी वैक्सीन का प्रतिकूल प्रभाव स्वास्थ्य लोगों में असामान्य नहीं है। फिर भी, लोगों को किसी Vaccine के इस्तेमाल से पहले जानने की जरूरत है कि उसका साइड-इफेक्ट्स क्या है।

मॉडर्ना की वैक्सीन से होनेवाले साइड-इफेक्ट्स

मॉडर्ना के तीसरे चरण के मानव परीक्षण में शामिल 44 वर्षीय वॉलेंटियर ने अनुभव शेयर किया था। लक हचशन ने बताया कि उन्हें मॉडर्ना की एआरएनए Vaccine के पहले डोज लेने के बाद मामूली बुखार हुआ। और जब दूसरा डोज लिया तो उन्हें ‘COVID-19 जैसे पूरे लक्षण’ महसूस हुए। 12 घंटे तक बुखार, कंपकपी, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द, सिर दर्द, हाथ पांव में गर्मी, खांसी, बेचैनी महसूस हुई।

नॉर्थ कैरोलिया यूनिवर्सिटी में पढ़नेवाले एक अन्य वॉलेटिंयर जैक मोरनिंगस्टार के मुताबिक, “पहला खुराक लेने के बाद मुझे थकान महसूस हुआ और दूसरा डोज लेने के बाद बुखार हो गया। परीक्षण के दौरान मुझे नहीं मालूम था कि COVID-19 वैक्सीन का डोज दिया गया है या सिर्फ प्लेसेबो।”

एक रिपोर्ट में बताया गया है कि मॉडर्ना के 2 अन्य प्रतिभागियों ने भी मिलते-जुलते साइड-इफेक्ट्स की बात कही। लेकिन उन्होंने सार्वजनिक रूप से बयान रिकॉर्ड कराने को मना कर दिया। हचशन ने बताया कि उसने अनुभव को सार्वजनिक करने का इसलिए फैसला किया क्योंकि उसे लगा कि मॉडर्ना लोगों को अपनी Vaccine के संभावित Side-Effects के बारे में लोगों को पूरी तरह नहीं बताएगी।

फाइजर की वैक्सीन के साइड-इफेक्ट्स

फाइजर एक रिपोर्ट में बता चुकी है कि अंतिम चरण के मानव परीक्षण में कुछ वॉलेंटियर को मामूली साइड-इफेक्ट्स जाहिर हुए। ये मामूली Side-EffectsVaccine के पहले डोज लेने के बाद सामने आए और दूसरा डोज लेने के बाद बहुत कम वॉलेंटियर ने Side-Effects की बात कही।

रिपोर्ट के मुताबिक, फाइजर ने थकान, सिर दर्द, कंपकपी, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द की सूचना दी लेकिन ज्यादा उम्र के लोगों में किसी तरह का गंभीर लक्षण सामने नहीं आया। वॉलेंटियर ने बताया कि उन्हें ‘फ्लू के हल्के लक्षण’ दोनों डोज में से हर एक को लेने के बाद महसूस हुए।

कम उम्र के कुछ वॉलेंटियर ने इंजेक्शन वाली जगह पर सूजन और लाली की भी शिकायत की। ब्रिटेन में आठ दिसंबर को पूरी तरह लोगों के इस्तेमाल के लिए फाइजर की Vaccine को लॉन्च कर दिया गया है। टीकाकरण के पहले दिन के बाद नेशनल हेल्थ सर्विस ने होनेवाली एलर्जी प्रतक्रिया के चलते Vaccine का इस्तेमाल नहीं करने को कहा है।

एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन के साइड इफेक्ट्स

तीसरे चरण के मानव परीक्षण में शामिल एस्ट्राजेनेका के 2 वॉलेंटियर को Vaccine का डोज लेने के बाद ट्रांसवर्स माइलाइटिस का अनुभव हुआ। ट्रांसवर्स माइलाइटिस रीढ़ की हड्डी के एक हिस्से के दोनों किनारों की सूजन है। यह न्यूरोजॉकिल यानी नसों से जुड़ा विकार है, जो अक्सर मायलिन को नुकसान पहुंचाता है।

ब्रिटिश फार्मा कंपनी ने ट्रांसवर्स माइलाइटिस का मामला सामने आने के बाद परीक्षण को रोक दिया था। 11 सितंबर को एस्ट्राजेनेका ने एक रिपोर्ट प्रकाशित कर बताया, “ये साबित करने के लिए पर्याप्त सबूत नहीं हैं कि क्या खास बीमारी Vaccine से हुई।” उसके बाद कंपनी ने ब्रिटेन, ब्राजील, दक्षिण अफीक्रा और भारत में तीसरे चरण का मानव परीक्षण शुरू कर दिया।

जॉनसन एंड जॉनसन के साइड इफेक्ट्स

जॉनसन एंड जॉनसन को भी तीसरे चरण का परीक्षण स्थगित करना पड़ा था। डोज लेने के बाद एक वॉलेंटियर को अस्पष्ट बीमारी का सामना करना पड़ा। कंपनी ने बीमारी का खुलासा नहीं किया। उसने वॉलेंटियर के साथ गोपनीय समझौते का हवाला दिया। मामला सामने आने के बाद पता नहीं चल सका कि क्या वॉलेंटियर प्लेसेबो ग्रुप में था या फिर Vaccine वाले ग्रुप में।

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