राजस्थान (Rajasthan) में जोधपुर मूल के रहने वाले एक 45 वर्षीय पति के जेंडर बदलकर (husband change gender) महिला बनने के बाद जयपुर कोर्ट (Jaipur Court) से तलाक हुआ है। मामले में पारिवारिक न्यायालय ने पति के जेंडर चेंज किए जाने को आधार बनाकर पत्नी की तलाक की अर्जी को मंजूर किया है। हालांकि पति-पत्नी पिछले 5 साल से अलग रह रहे थे, लेकिन पति द्वारा शादी के 21 साल बाद अपना जेंडर चेंज करवाने के बाद पत्नी द्वारा पारिवारिक न्यायालय में तलाक की अर्जी दी गई। इसके बाद अदालत ने दोनों को परिपक्व को मानते हुए और अपना भला-बुरा समझने की बात कहते हुए तलाक स्वीकृत किया है। मामले में महिला जयपुर की निवासी है इसीलिए संपूर्ण अदालती कार्रवाई जयपुर में संपन्न हुई है।
जानें, क्या है मामला
दरअसल, जोधपुर (Jodhpur) के 45 साल के पति ने अपनी जेंडर सर्जरी करवाई और महिला बन गया। पत्नी ने इस आधार पर तलाक की अर्जी दी। अब कोर्ट ने पारस्परिक सहमति के आधार पर उनके तलाक को मंजूर कर लिया है। अपुष्ट खबरों के अनुसार, यह भी बात सामने आई है कि यह तलाक करीब 15 से 20 करोड़ रुपये की राशि में सेटेलमेंट व आपसी सहमति के आधार पर हुआ है। इस मामले में न्यायालय का कहना है कि दोनों परिपक्व हैं और वयस्क हैं, अपना भला-बुरा समझते हैं। पत्नी की ओर से यह दलील दी गई कि पति के जेंडर चेंज करवाने के बाद अब उनके बीच पत्नी और पति के संबंधों की कोई गुंजाइश नहीं है। ऐसे में उनका विवाह विच्छेद होना ही श्रेयस्कर है। कोर्ट ने इस सभी बातों को ध्यान में रखते हुए तलाक की डिक्री का आदेश आपसी सहमति के बाद जारी किया है।
गौरतलब है कि इससे पहले कोटा में एक महिला को पति द्वारा तीन बार तलाक-तलाक बोलकर छोड़ने का मामला सामने आया ता। पत्नी को तलाक देने के बाद पति अपने बेटे को लेकर पैतृक गांव चला गया। कोटा के कुल्हाड़ी इलाके में रहने वाली 55 वर्षीय महिला रेहाना ने अपने पति सरवर अंसारी के खिलाफ पुलिस अधीक्षक के समक्ष महिला विवाह संरक्षण अधिनियम, 2019 की धारा तीन व चार के तहत मामला दर्ज कराने का आग्रह किया था। सरवर अंसारी आए दिन पत्नी के साथ मारपीट करता था। इससे पहले भी रेहाना ने मारपीट की शिकायत पुलिस को दी।