बिहार की राजनीति में चिराग पासवान (Chirag Paswan) अभी अपने पत्ते पूरी तरह खोलने के लिए तैयार नहीं हैं। हाल के दिनों में CM नीतीश कुमार (Bihar CM Nitish Kumar) और जदयू (JDU) से उनकी बढ़ती दूरी के साथ तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) और लालू यादव (Lalu Yadav) से बढ़ती नजदीकियां तो सभी देख रहे हैं, लेकिन भाजपा (BJP) को लेकर उनकी रणनीति अभी बहुत स्पष्ट नहीं है। चिराग पासवान अभी राजद (RJD) और BJP दोनों से बराबर दूरी बनाकर रखने का संदेश देने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन उनके पिता राम विलास पासवान (Ram Vilas Paswan) की बरसी के बहाने भविष्य के लिए उनकी रणनीति और रास्तों का काफी अंदाजा हो जाने की उम्मीद है।
चिराग का कहना है कि उनके पिता का सभी राजनीतिक दलों और राजनेताओं से मधुर संबंध था। इसलिए बरसी के मौके पर उन्होंने सभी दलों के राजनेताओं को आमंत्रित किया है। उन्होंने कहा कि यह गैर राजनीतिक कार्यक्रम है, इसलिए राम विलास के साथ काम करने वाले सभी नेताओं को इस आयोजन में आना चाहिए। उन्होंने बिहार के CM नीतीश को भी इस कार्यक्रम के लिए आमंत्रित किया है। लोजपा की ओर से बताया गया था कि कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) से लेकर कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) को भी बुलाया गया है।
इस कार्यक्रम का न्योता देने के लिए चिराग ने CM नीतीश कुमार से मिलने की कोशिश की थी, लेकिन उन्हें वक्त नहीं मिल सका। जदयू के नेता चिराग पासवान पर लगातार हमलावर रहे हैं, वहीं चिराग भी लगातार CM की आलोचना करते रहे हैं। ऐसे में मुख्यमंत्री इस आयोजन में जाते हैं या नहीं, इस पर सभी नजर रहेगी। इस कार्यक्रम के लिए लालू यादव, तेजस्वी यादव और जीतन राम मांझी जैसे नेताओं को भी चिराग ने व्यक्तिगत रूप से मिलकर बुलावा दिया है। इन नेताओं के आगमन पर भी सबकी नजरें रहेंगी।
इस कार्यक्रम में PM मोदी और कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया के आने की कोई सूचना तो नहीं है, लेकिन लोगों की निगाहें इस बात पर जरूर रहेंगी कि इन दोनों पार्टियों के कौन से नेता कार्यक्रम में शामिल होते हैं। JDU से किसी बड़े नेता के इस कार्यक्रम में शामिल होने की उम्मीद नहीं दिखती है, वहीं RJD की ओर से इसकी प्रबल संभावना है। स्वभाविक है कि जो दल और नेता इस कार्यक्रम में आगे दिखेंगे, उनके साथ चिराग का राजनीतिक भविष्य तय हो सकता है।