दिनों दिन बिगड़ रही है राजधानी दिल्ली और आसपास के इलाकों की आबोहवा। दिल्ली की जहरीली होती हवा को देखते हुए केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (Central Pollution Control Board) ने कॉरपोरेट और आइटी कंपनियों के कर्मचारियों को ‘वर्क फ्रॉम होम’ मतलब कि घर से काम की सलाह दी है। वहीं सरकारी और गैर सरकारी कर्मचारियों को कार पूल करने एवं सार्वजनिक वाहनों का प्रयोग करने के लिए कहा है। इसके अलावा स्कूलों को बच्चे घर से लाने और छोड़ने के लिए कहा गया है।
दरअसल, वायु प्रदूषण की स्थिति पर CPCB ने शुक्रवार सुबह टास्क फोर्स की बैठक रखी। इसमें मौजूदा स्थिति से बचाव और प्रदूषण की रोकथाम को लेकर तमाम मुददों पर चर्चा के बाद तीन बिंदओं पर एडवाइजरी जारी करने का फैसला किया है। इसे स्वीकृति के लिए पर्यावरण प्रदूषण नियंत्रण एवं संरक्षण प्राधिकरण (ईपीसीए) को भेजा गया है। ईपीसीए इसे क्रियान्वयन के लिए दिल्ली, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और राजस्थान सरकार भेजेगा। बैठक के बाद सीपीसीबी के सदस्य सचिव डॉ. प्रशांत गार्गवा ने बताया कि सफर और मौसम विभाग का पूर्वानुमान है कि आने वाले दिनों में वायु प्रदूषण की स्थिति और खराब होगी। 23 अक्टूबर तक हवा की दिशा और गति पर्यावरण के अनुकूल नहीं है। इस दौरान हवा खराब या बहुत खराब श्रेणी में रहेगी।
उन्होंने बताया कि सर्दियों में वायु प्रदूषण से निपटने के लिए 13 हॉट स्पॉट बनाए गए हैं, यहां लोकल प्लान के हिसाब से काम किया जा रहा है। इसके अलावा 15- 15 दिन के पुर्वानुमान के लिए आइआइटी दिल्ली से करार किया गया है। एडवाइजरी में कॉरपोरेट और आइटी सेक्टर की कंपनियों से अपील की गई हैं कि वह वर्क फ्रॉम होम को बढ़ावा दें और अपने कर्मचारियों को इसके लिए प्रोत्साहित करें। ताकि, सड़कों पर वाहनों की भीड़ कम की जा सके। सरकारी विभागों और निजी कंपनियां अपने कर्मचारियों को निजी गाड़ियों की बजाय सार्वजनिक परिवहन का इस्तेमाल करने या कार पूल करने का सुझाव दिया है।