J&K: मुठभेड़ के दौरान नहीं जाएगी जवानों की जान

जम्मू-कश्मीर से अर्टिकल 370 हटने के बात आतंकियों का खर लगातार जारी है। आए दिन आतंकियों और भारतीय सेना के बीच मुठभेड़ होते रहते हैं। ऐसे में इंडियन आर्मी को कश्मीर घाटी में आतंकवाद विरोधी अभियानों को अंजाम देने वाले सैनिकों के लिए पहली बार 40 हजार स्वदेशी लिए पहली बार 40 हजार स्वदेशी बुलेटप्रूफ जैकेटों की आपूर्ति की गई है। एसएमपीपी प्राइवेट लिमिटेड के मेजर-जनरल अनिल ओबेरॉय ने कहा, ‘हमें उम्मीद है कि हम सेना के लिए बुलेटप्रूफ जैकेट के ऑर्डर को अच्छी तरह से समय से पहले दे पाए। ‘

ओबरॉय ने ये बताया कि हमें पहले साल में 36,000 जैकेटों की आपूर्ति करनी थी, लेकिन हम समय से पहले हैं और हमने भारतीय सेना को 40,000 जैकेटों की आपूर्ति की है। सरकार ने यह ऑर्डर पूरा करने के लिए कंपनी को 2021 तक का समय दिया था। लेकिन 2020 के अंत तक सारी जैकेट्स बन कर तैयार हो जाएंगी।

जानकारी के मुताबिक पिछले साल, रक्षा मंत्रालय ने स्वदेशी निर्माता एसएमपीपी लिमिटेड को 1। 8 लाख से अधिक बुलेटप्रूफ जैकेट प्रदान करने का ठेका दिया था। वहीं जैकेटों को कानपुर में केंद्रीय ऑर्डनेन्स डिपो को आपूर्ति की जा रही है, जहां से उन्हें जम्मू और कश्मीर और अन्य हिंसा प्रभावित क्षेत्रों में भेजा जाएगा।

एके-47 के हमले को भी झेल सकती है बुलेटप्रूफ जैकेट

ओबेरॉय ने बुलेटप्रूफ जैकेट को लेकर दावा किया है कि ये जैकेट एके -47 राइफल के हमले का भी सामना कर सकती हैं। उन्होंने कहा, ‘देश में बनी यह बुलेटप्रूफ जैकेट्स हार्ड स्टील से बनी गोलियां झेल सकती है। एके-47 और कई अन्य हथियार इस पर बेअसर होंगे। हमारी जैकेट इसके प्रभाव को अवशोषित कर सकती है’

इतना ही नहीं उन्होंने कहा इस बुलेटप्रूफ जैकेट के साथ ऐसे हेलमेट भी बनाए हैं जो एके-47 हार्ड स्टील कोर गोला बारूद के खिलाफ सैनिकों की रक्षा कर सकते हैं। इस जैकेट और हेलमेट से अपने सैनिक के सिर से पैर तक का ख्याल रखेंगे।

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