देश में Corona संकट को रोकने के लिए लॉकडाउन जारी है। जिसकी वजह से लोग दूसरे शहरों में फंसे हुए हैं। जब खाने-पीने की दिक्कत होने लगी तो लोगों को अपना गांव याद आने लगा। चौतरफा बंदी की वजह से जब लोगों को साधन नहीं मिला रहे है। तो पैदल ही गांव जाने का फैसला कर लिया। ऐसा ही एक मामला सामने आया है। श्रावस्ती जिले के रहने वाले युवक ने बहराइच के रास्ते मुम्बई से 1600 किमी की दूरी पैदल तय कर गांव की राह तो नाप ली, लेकिन होनी को यह मंजूर नहीं था। घर से कुछ ही दूर क्वारेंटाइन सेंटर में संदिग्ध परिस्थितियों में उसने दम तोड़ दिया। घरवालों का रो-रोकर बुरा हाल है।
सूत्रों के अनुसार गांव पहुंचने के बाद युवक को सरकारी स्कूल में क्वारंटीन किया गया था। जहां 4 घंटे बाद ही उसकी मौत हो गई। क्वारंटीन युवक की मौत के बाद प्रशासन में हड़कंप मच गया। मौत की वजह स्पष्ट नहीं होने की वजह से प्रशासन ने सतर्कता के मद्देनजर Covid-19 की सैंपलिंग कर जांच के लिए भेज दिया है। साथ ही रिपोर्ट आने तक शव को हॉस्पिटल के मोर्चरी में रखवा दिया गया है। जिले के मल्हीपुर थाना के मटखनवा गांव का एक युवक सुबह लगभग सात सात बजे बहराइच होकर पैदल अपने गांव आया। यहां उसे सीधे प्राथमिक विद्यालय मटखनवा में क्वारंटीन कर दिया गया। तकरीबन साढ़े दस बजे उसे पेट दर्द के साथ उल्टी दस्त शुरु हो गई। गांव के सेक्रेटरी ने युवक की हालत बिगड़ने की जानकारी भंगहा सीएचसी अधीक्षक डॉ. प्रवीर कुमार को दी। जब तक सीएचसी से ऐंबुलेंस पहुंचती तब तक युवक ने दम तोड़ दिया था।
प्रशासन को जब इस घटना की जानकारी हुई तो जिम्मेदारों में हड़कंप मच गया। CMO डॉ. एपी भार्गव सहयोगियों के साथ क्वारन्टीन स्थल पहुंचे। CMO ने बताया कि मृतक युवक की Covid-19 जांच के लिए सैंपल भेजा गया है। क्वारंटीन सेंटर में पहुंचने के बाद उसके संपर्क में आए परिवार के 8 लोगों को स्कूल में ही क्वारंटीन किया गया है। शव को मोर्चरी में रखवा दिया गया है। सैंपल रिपोर्ट आने के बाद अंतिम संस्कार की प्रक्रिया पर निर्णय लिया जाएगा