पूरे विश्व को कोरोना वायरस जैसी खतरनाक बिमारी देने वाला चीन इस वक्त चारो-ओर घिर चुका है। अमेरिका और चीन में तनाव तो पहले से ही जारी था, इसी बीच भारत में चीनी सामान के बैन की मुहिम तेज होने के साथ साथ जहां भारत ने बीते दिनों टिकटॉक समेत 59 चीनी ऐप्स पर बैन लगा दिया था, तो वहीं अब ब्रिटेन ने भी चीन का खुल तौर पर बहिष्कार करना शुरू कर दिया है। बता दें, ब्रिटेन की बोरिस जॉनसन सरकार ने यूके में 5G वायरलेस नेटवर्क डिवेलप करने के लिए चीन के बजाए जापान से मदद मांगी है। इससे पहले ब्रिटेन में चीनी कंपनी हुवावे 5G नेटवर्क डिवेलप कर रही थी।
बता दें ब्रिटेन ने कुछ समय पहले ही चीन की Huawei पर बैन लगाया है। इससे पहले अमेरिका ने भी हुवावे पर बैन लगाया था। अमेरिका और चीन के बीच बीते काफी वक्त से टेक्नॉलजी और सिक्यॉरिटी को लेकर तनातनी जारी है। इस सिलसिले में ब्रिटेन के अधिकारियों ने जापाने के ऑफिशल्स से मुलाकात की। दोनों दलों के बीच टोकियो में बैठक हुई।
इससे पहले ब्रिटेन ने कुछ समय पहले यूरोपियन यूनियन से बाहर निकलने का फैसला लेने के बाद अब ब्रिटेन ने चीन के हुवावे को बैन कर साल 2027 तक अपने 5G नेटवर्क से हुवावे के उपकरण हटाने की घोषणा की है।
आपको बता दें 5G यूजर्स को 4G नेटवर्क से 20 गुना ज्यादा स्पीड मिलेगी। 5G यूजर्स को भीड़ में भी अपने मोबाइल प्रोवाइडर से कनेक्ट होने में 3G और 4G नेटवर्क्स के मुकाबले कोई परेशानी नहीं होगी। 5G के केस में, लेटेंसी रेट 1 मिलिसेकंड होगा जबकि 4G नेटवर्क में ये रेट 10 मिलिसेकंड होता है। जहां पहले यूके में 5G नेटवर्क को डेवलप करने में चीन की मदद ली जा रही थी वहीं अब चीन को दरकिनार कर ब्रिटेन जापान से हाथ मिलाया है।