डॉक्टरों ने किया हड़ताल का एलान
असम के जोरहाट जिले में चाय बागान कर्मियों की कथित मारपीट से एक बूढ़े डॉक्टर की मौत हो गई। बागानकर्मी अपनी एक साथ के इलाज के दौरान हुई मौत से नाराज थे। वहीं इस घटना के बारे में पुलिस ने बताया कि लगभग 250 लोगों की भीड़ ने डॉक्टर पर हमला कर दिया था, इस मामले में 21 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है।
अधिकारियों ने बताया कि घटना शनिवार को टिओक चाय बागान में हुई। डॉक्टरों ने डॉक्टर की हत्या के विरोध में तीन सितंबर को राज्यभर में 24 घंटे की हड़ताल का रविवार को आह्वान किया गया है हालांकि हड़ताल में आपात सेवाएं शामिल नहीं होंगी।
जोरहाट जिले की उपायुक्त रोशनी अपरंजी कोराटी ने कहा, सोमरा माझी की मौत के बाद उसके दोस्तों ने 73 वर्षीय डॉक्टर देबेन दत्ता की कथित तौर पर पिटाई कर दी। माझी का बागान के ही अस्पताल में इलाज चल रहा था। कोराटी ने बताया कि चाय बागान कर्मियों ने अस्पताल को घेर लिया था और पुलिस ने डॉ। दत्ता को बचाया। बाद में उन्हें जोरहाट चिकित्सा महाविद्यालय एवं अस्पताल स्थानांतरित किया गया, जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। वहीं उन्होंने बताया कि मामले की मजिस्ट्रेट जांच के आदेश दिए गए हैं। ऐसे में उपायुक्त सुभान गोवाला को 7 दिन में रिपोर्ट पेश करने को कहा गया है।
उपायुक्त के अनुसार घटना में कार्रवाई शुरू कर दी गई है और अब स्थिति नियंत्रण में है। इस बीच, ‘असम वैली कंसलटेटिव कमेटी ऑफ प्लांटेशन एसोसिएशन’ (सीसीपीए) ने घटना की निंदा की और प्रशासन से मामले के दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग की है।
डॉ बोरा ने बताया कि दत्ता पर हमला चाय बागानों में काम कर रहे डॉक्टरों पर शारीरिक हमले की तीसरी बड़ी घटना है और ऐसी घटनाएं बढ़ रही हैं। उन्होंने कहा, ‘इन घटनाओं और डॉक्टरों को सुरक्षा मुहैया कराने तथा दोषियों को सजा दिलाने में सरकार की नाकामी के खिलाफ विरोध के तौर पर डॉक्टरों ने 24 घंटे तक काम न करने का फैसला किया है। वह इस दौरान हड़ताल पर रहेंगे।