नोएडा अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट से इंदिरा गांधी इंटरनेशनल Airport को सीधे जोड़ने के लिए एक रिंग रोड बनाई जा सकती है। इस रास्ते में दिल्ली का जाम बाधक न बने, ऐसे में फरीदाबाद-गुरुग्राम के रास्ते नोएडा-ग्रेटर नोएडा में सीधे प्रवेश की संभावनाओं पर काम चल रहा है। अधिकारियों के बीच मंथन जारी है। Airport अथॉरिटी से भी विचार विमर्श किया जा चुका है। नोएडा प्राधिकरण की ओर से यमुना पुल के ऊपर लंबे समय से प्रस्तावित पड़े 2 पुल बनने की अब संभावनाएं प्रबल हो चुकी हैं। यमुना पुश्ता के साथ नोएडा ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे के समानांतर 35 किलोमीटर लंबी सड़क की चौड़ाई बढ़ाकर इसे सेक्टर-150 से जोड़ा जा सकता है। 35 मीटर चौड़ी पुश्ता रोड की चौड़ाई 100 मीटर करने पर विचार किया जा रहा है। यदि ऐसा होता है तो आइजीआइ से रिग रोड होते हुए सिग्नल फ्री यातायात के जरिये नोएडा अंतरराष्ट्रीय Airport तक पहुंचा जा सकेगा। इसके लिए इंजीनियरिंग विंग काम कर रही है। इस कार्य में नोएडा प्राधिकरण की भी अहम भूमिका होगी।
नोएडा प्राधिकरण इस योजना को एक रिंग रोड की तरह देख रहा है, क्योंकि सेक्टर-150 से फरीदाबाद के लिए यमुना पर पुल बनाया जाएगा। वहीं नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे पर 35 किलोमीटर लंबी आर्टियल रोड (सामांतर सड़क) आगे सेक्टर-150 को जोड़ेगी। इस रोड को कालिंदी कुंज से भी सीधे जोड़ दिया जाएगा। ऐसे में यह आर्टियल रोड लिंक रोड की तरह काम करेगी। साथ ही प्रस्तावित रिंग रोड नोएडा व कालिंदी कुंज से Airport जाने वाले ट्रैफिक के भार को कम करेगी। वहीं धौलाकुआं, वसंतकुंज के रास्ते दक्षिणी दिल्ली से DND के रास्ते नोएडा से आइजीआइ Airport की सुविधा पहले से ही प्राप्त हो रही है।
एक्सप्रेस-वे पर सेक्टर-150 से होते हुए एक पुल यमुना किनारे बसे गांव अमीपुर तक जाएगा। यह सड़क आगे फरीदाबाद में कबूलपुर, शिकारगाह गांव के पास ग्रेटर नोएडा के लिए बनाई जाएगी। पुल से फरीदाबाद सेक्टर-95 के आउटर रोड तक 90 मीटर चौड़ी सड़क बनाई जाएगी, जो राजपुर कलां, तिलोरी खाद आदि गांव के पास से होते हुए अलीपुर शिकारगाह तक पहुंचेगी। इसके अलावा नोएडा के सेक्टर-168 से फरीदाबाद के महावतपुर और लालपुर गांव पर आकर एक यमुना पुल और समाप्त होगा।
मिनटों में तय होगी फरीदाबाद की दूरी
इन दोनों पुलों के बनने के बाद फरीदाबाद से नोएडा व ग्रेटर फरीदाबाद की दूरी चंद मिनटों की रह जाएगी। यह दोनों ही पुल ईस्टर्न पेरिफेरल व वेस्टर्न पेरिफेरल से जुड़ेंगे। माना जाए तो यह रोड एक रिंग रोड की तरह काम करेगी। यह सीधे आइजीआइ व नोएडा International Airport के बीच एक कॉरिडोर का काम करेगी।