कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी शुक्रवार को वाराणसी जाएंगी। उनका दौरा कुल चार घंटे का होगा। वे यहां पूजा करेंगी और नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ विरोध में शामिल आन्दोलनकारियों से मुलाकात करेंगी। बता दें कि एक है डेढ़ साल का चंपक, जिसके माता-पिता को जेल हो गयी थी। वे नागरिकता संशोधन कानून की विरोध कर रहे थे। इसके अलावा वे कई राजनितिक समीकरणों को भी साधने की कोशिश करेंगी।
प्रियंका गांधी आंदोलन के दौरान पकड़े गए और मारे गए लोगों के परिजनों से जा जाकर मिल रही है। लखनऊ और पश्चिमी यूपी के बाद अब उनका काफिला वाराणसी पहुंच रहा है, जहां वे बड़े पैमाने पर जेल भेजे गये लोगों से बातचीत करेंगी। इसमें डेढ़ साल के चंपक के मां बाप भी शामिल हैं।
चंपक की मां एकता सिंह ने न्यूज़ 18 ने बताया कि उन्हें भी न्यौता मिला है लेकिन, उन्होंने अभी तय नहीं किया है वे जायेंगी य़ा नहीं। चंपक का दर्द आंदोलन के समय बहुत फेमस हुआ था।
इसके साथ प्रियंका गांधी उस छात्र से भी मिलेंगी जिसने सीएए की खिलाफत करते हुए बनारस हिन्दु विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह में मंच से डिग्री लेने से मना कर दिया था। छात्र रजत सिंह ने अपने साथियों की गिरफ्तारी के विरोध में डिग्री लेने से इनकार किया था। प्रियंका भैंसासुर घाट पर एक बुनकर की बेटी शायना अनवर से भी मिलेंगी।
अभी तक के तय कार्यक्रम के मुताबिक प्रियंका गांधी वाराणसी पहुंचने के बाद सबसे पहले राजघाट जिसे भैंसासुर घाट भी कहते हैं, पर गंगा में आचमन करेंगी। उसके बाद घाट पर ही बने संत रविदास मंदिर में पूजा पाठ करेंगी। दलित समाज के लिए ये एक बड़ा धार्मिक स्थल है। इस मंदिर में पूजा करके प्रियंका गांधी कांग्रेस से छिटक गये दलित समाज के प्रति अपनी आस्था जाहिर करने की कोशिश करेंगी। मालूम हो कि दलित किसी जमाने में कांग्रेस का वोटबैंक हुआ करते थे लेकिन बसपा के जन्म के बाद राजनीतिक समीकरण बदल गये। पिछले कई चुनावों में बसपा के इस वोटबैंक में भाजपा ने भी सेंधमारी की है। और अब प्रियंका गांघी कोशिशों में जुटी हैं।