देश की सेना और विपक्ष का विश्वास खो चुके इमरान खान के तख्तापलट की तारीख ‘तय’ हो गई है। पाकिस्तान में फिर एक बार सैनिक शासन की तैयारी हो चुकी है क्योंकि पाकिस्तान के बड़े बिजनेसमैन के साथ पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में बैठक नहीं होती है। बैठक होती है रावलपिंडी में जहां पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी का हेडक्वार्टर है।
पाकिस्तान में फिर एक बार सेना के बूट की धमक सुनाई देगी। पाकिस्तान में सेना रेडियो स्टेशन, टीवी स्टेशन, दूर संचार भवन, संसद हर जगह कब्जा कर सकती है, पाकिस्तान में फिर एक बार एक चुनी हुई सरकार की जगह सेना लेने जा रही है। बैठक में पाकिस्तान के चीफ ऑफ आर्मी स्टाफ कमर जावेद बाजवा ने पाकिस्तान के बड़े कारोबारियों से मुलाकात की। ये मुलाकात रावलपिंडी के आर्मी हाउस में की गई थी। क्योंकि उनकी समस्य़ाओं को दूर करने के लिए इमरान खान ने कोई कदम नहीं उठाया इसलिए इन सभी बिजनेस लीडर्स ने अब आर्मी चीफ से मुलाकात की है।
पाकिस्तान ने पहले भी तख्तापलट देखें हैं, और फिर एक बार पाकिस्तान का एक जनरल एक चुनी हुई सरकार को उखाड़ फेंके तो हैरानी नहीं होनी चाहिए।
पाकिस्तानी सेना की ट्रिपल वन ब्रिगेड के अधिकारियों और सैनिकों की छुट्टियां रद्द कर दी गई हैं। ट्रिपल वन ब्रिगेड रावलपिंडी में तैनात रहती है…ट्रिपल वन ब्रिगेड रावलपिंडी में पाकिस्तानी सेना की गैरिसन ब्रिगेड है। इसलिए इसे COUP BRIGADE भी कहते हैं जो तख्तापलट के लिए कुख्यात है. इस ब्रिगेड का इस्तेमाल इससे पहले हुई लगभग हर सैन्य तख्तापलट में किया गया है…ब्रिगेड के सभी अधिकारियों और सैनिकों को ड्यूटी पर लौटने के आदेश दिए गए हैं। पाकिस्तान के राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री की सुरक्षा का ज़िम्मा ब्रिगेड 111 के पास ही है।