डेमोक्रेटिक पार्टी की ओर से उपराष्ट्रपति पद की प्रत्याशी Kamala Harris ने कहा कि अगर उनकी पार्टी सत्ता में आती है तो अमेरिका ईरान को परमाणु हथियार हासिल नहीं करने देगा। बिडेन प्रशासन अपने सहयोगी देशों के साथ मिलकर ओबामा के समय हुए परमाणु समझौते को मजबूत करेगा और अस्थिरता फैलाने वाली ईरान की गतिविधियों पर रोक लगाएगा।
भारतीय मूल की सीनेटर हैरिस ने Trump पर भी निशाना साधा। चंदा हासिल करने के दौरान सवालों के जवाब में उन्होंने कहा, ‘जैसा कि हम सभी जानते हैं कि उस परमाणु समझौते ने ईरान को एटमी हथियार हासिल करने से रोक दिया था और यह कारगर था।
अंतरराष्ट्रीय निरीक्षकों और अमेरिकी खुफिया विभाग ने भी इसकी पुष्टि की थी। लेकिन, Trump समझौते से हट गए। वह कहते थे कि ईरान को काबू में रखने के लिए इससे बेहतर समझौता करेंगे। समझौता खत्म होने के बाद ईरान ने अपनी परमाणु गतिविधियां बढ़ा दीं।’
हैरिस ने कहा, ‘मैं यह स्पष्ट कर दूं कि हम ईरान को एटमी हथियार हासिल नहीं करने देंगे। हम इसे सुनिश्चित करते रहेंगे कि इजरायल को अमेरिका का अटूट समर्थन मिलता रहे।’ ईरान पर हथियार प्रतिबंध को लेकर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में अमेरिकी प्रस्ताव को सिर्फ एक देश का समर्थन मिलने का जिक्र करते हुए हैरिस ने कहा कि उनका मानना है कि पहले की तुलना में अमेरिका अपने सहयोगी देशों के बीच कहीं ज्यादा अलग-थलग पड़ गया है।
वहीं, दूसरी ओर Kamala Harris ने रिपब्लिकन पार्टी पर अश्वेत लोगों के मतदान के अधिकार को दबाने के लिए ताकत का इस्तेमाल करने का आरोप लगाया है। महिला समानता दिवस के अवसर पर एक लेख में वोटिंग के अधिकार के लिए लड़ने वाली इतिहास की सभी साहसी महिलाओं को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए Harris ने कहा कि 19 वें संशोधन के बावजूद न तो वह और न ही भारत से आई उनकी मां ही अपने मताधिकार का प्रयोग कर पातीं।