उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी राष्ट्रीय लोक मोर्चा (आरएलएम) में ऐसा लग रहा है कि कुछ भी ठीक नहीं है. पार्टी के अंदर विधायक शीर्ष नेतृत्व से नाराज चल रहे हैं. राष्ट्रीय लोक मोर्चा के विधायक रामेश्वर महतो ने सोशल मीडिया पर पार्टी के नेतृत्व को लेकर सवाल खड़ा किया है. शुक्रवार (11 दिसंबर, 2025) को एक्स पर आरएलएम विधायक ने चार लाइन के पोस्ट से उपेंद्र कुशवाहा की टेंशन बढ़ा दी है.
‘जनता को ज्यादा दिनों तक भ्रमित नहीं रखा जा सकता’
रामेश्वर महतो ने लिखा है, “राजनीति में सफलता केवल भाषणों से नहीं, बल्कि सच्ची नीयत और दृढ़ नीति से मिलती है. जब नेतृत्व की नीयत धुंधली हो जाए और नीतियां जनहित से अधिक स्वार्थ की दिशा में मुड़ने लगें, तब जनता को ज्यादा दिनों तक भ्रमित नहीं रखा जा सकता. आज का नागरिक जागरूक है, वह हर कदम, हर निर्णय और हर इरादे को बारीकी से परखता है.”
रामेश्वर महतो ने अपने पोस्ट में कहीं भी अपनी पार्टी का नाम या नेता के नाम का जिक्र नहीं किया है. हालांकि ये पहली बार नहीं है जब पार्टी के किसी विधायक ने इस तरह से विरोध जताया है. दरअसल बेटे को मंत्री बनने के बाद उपेंद्र कुशवाहा लगातार पार्टी में विरोध खेल रहे हैं. बिहार विधानसभा सत्र के दौरान भी पार्टी के प्रति विधायकों में बिखराव नजर आया था.
राजनीति में सफलता केवल भाषणों से नहीं, बल्कि सच्ची नीयत और दृढ़ नीति से मिलती है। जब नेतृत्व की नीयत धुंधली हो जाए और नीतियाँ जनहित से अधिक स्वार्थ की दिशा में मुड़ने लगें, तब जनता को ज्यादा दिनों तक भ्रमित नहीं रखा जा सकता। आज का नागरिक जागरूक है—वह हर कदम, हर निर्णय और हर इरादे…
कुछ दिनों पहले उपेंद्र कुशवाहा ने माधव आनंद को विधायक दल के नेता की जिम्मेदारी दी थी. वहीं पत्नी स्नेहलता को मुख्य सचेतक नियुक्त किया था. अब रामेश्वर महतो अपनी नाराजगी सोशल मीडिया पर जाहिर कर रहे हैं. बता दें कि उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी इस बार के विधानसभा चुनाव में 6 सीटों पर लड़ी थी. चार सीटों पर पार्टी जीती है. उनके बेटे ना तो एमएलसी हैं और ना ही विधायक हैं लेकिन मंत्री बनाए गए हैं.

