अगर अब आपने दलालों से ट्रेन का टिकट लिया तो आप मुश्किल में फंस सकते हैं। दलालों से कन्फर्म टिकट लेने के बावजूद आपको बिना टिकट माना जाएगा। जी हां…तो अगर छठ पूजा से पहले ट्रेनों में भारी भीड़ की वजह से आपको भी टिकट नहीं मिला है तो रेलवे स्टेशन पर किसी दलाल के झांसे में आने से बचें। यह टिकट आपको उचित किराये के मुकाबले कई गुणा अधिक कीमत पर तो मिलता ही है साथ ही ट्रेन में यात्रा के दौरान भी आपको मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा।
रेलवे स्टेशन पर आपको ये टिकट दलाल जहां-तहां घूमते मिल जाते हैं। ट्रेन खुलने से 15-20 मिनट पहले भी आप स्टेशन पहुंचे तो आपको तुरंत हाथों-हाथ कंन्फर्म टिकट ऑफर किया जाता है। इन टिकटों को ये दलाल महीनों पहले किसी भी नाम और आमतौर पर 25 से 40 साल की उम्र के साथ बुक करा चुके होते हैं। यदि आप सवाल करते हैं कि यह टिकट किसके नाम से है तो आपको यह कहा जाता है कि आपसे ट्रेन में आईडी की मांग नहीं की जाएगी। लेकिन असल में यह दावा झूठा है।
ट्रेन में टिकट के साथ पहचान पत्र दिखाना
अनिवार्य होता है, यह नियम ई-टिकट के साथ काउंटर टिकट के लिए भी लागू होता है। यदि आपने दलाल
से टिकट लिया है तो चार्ट में नाम अलग होने की वजह से आसानी से पकड़ में आ जाएंगे।
इस स्थिति में आप बिना टिकट माने जाते हैं। हो सकता है कि आपको सीट छोड़नी पड़े और
जुर्माना भी देना होगा। दूसरी स्थिति में आपसे अवैध वसूली हो सकती है।