उत्तर प्रदेश के Ayodhya में विवादित भूमि के साथ राम जन्मभूमि अधिग्रहित परिसर पर मालिकाना हक के लिए मंडलायुक्त ने राम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र Trust को दस्तावेज सौंप दिया है। Trust के अनुसार वर्तमान परिस्थिति सामान्य होते ही मंदिर निर्माण का कार्य प्रारंभ कर दिया जाएगा। देश में लागू Lockdown खुलते ही राम मंदिर निर्माण का कार्य भी शुरू हो जाएगा। मंदिर निर्माण की प्रक्रिया के पूर्व Trust के तमाम पदाधिकारी अयोध्या में रहेंगे। दूर-दराज से Trust के पदाधिकारी अयोध्या आएंगे तो Lockdown के वजह से अभी बंदिशें लागू हैं देश की सुरक्षा सर्वोपरि है Lockdown खुलने के बाद राम मंदिर निर्माण का कार्य तीव्र गति के शुरू किया जा सकता है।
राम जन्मभूमि में राम मंदिर पर वर्षों से चल रहा विवाद 9 नवंबर को समाप्त हो गया। 5 फरवरी को राम जमभूमि परिसर का चार्ज Trust को सौंप दिया था। जिसके बाद रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र Trust ने मंदिर निर्माण की प्रक्रिया तेज करते हुए टेंट में विराजमान भगवान श्री राम लला को परिसर में ही एक अस्थाई बुलेट प्रूफ मंदिर में विराजमान करा दिया। अब मंदिर निर्माण की तैयारी जोरों पर है।
इस दौरान मंदिर निर्माण से पूर्व 2.77 एकड़ के साथ 67 एकड़ भूमि का मालिकाना हक भी Trust को देते हुए सभी दस्तावेज को रिसीवर रहे मंडलायुक्त ने Trust के सदस्यों को सौंप दिया है। Trust ने मंदिर निर्माण की प्रक्रिया को साफ करते हुए बताया है कि अब किसी भी प्रकार का अड़चन निर्माण के बीच नहीं होगा क्योंकि आज पूरा अधिकार Trust को प्राप्त हो चुका है।
राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र Trust के महासचिव चम्पत राय ने बताया कि परिस्थितियां सामान्य होते ही मंदिर निर्माण का कार्य भी प्रारंभ कर दिया जाएगा। देश की सुरक्षा Trust के लिए सर्वमान्य है, वहीं रामजन्मभूमि परिसर के दस्तावेजों को लेकर बताया कि राम जन्मभूमि परिसर के रिसीवर व Ayodhya के मंडलायुक्त ने फैसला आने के बाद Ayodhya राजा बिमलेंद्र मोहन मिश्र को चार्ज सौंप दिया था, जिसके बाद अब विवादित भूमि के साथ 67 एकड़ पूरे परिसर के संबंधित कागजातों को Trust को सौंप दिया है।